रघुवर दास के कैबिनेट में रहे पांच मंत्रियों के संपत्ति की जांच करेगी ACB, हेमंत कैबिनेट ने दी मंजूरी

झारखण्ड सरकार के पूर्व मंत्रियी अमर कुमार बाउरी, रणधीर कुमार सिंह, डॉ० नीरा यादव, लुईस मरांडी एवं नीलकंठ सिंह मुण्डा के विरूद्ध प्रत्यानुपातिक धनार्जन की जॉच के लिए पी०ई० दर्ज करने की अनुमति हेमंत सोरेन की कैबिनेट ने दिये हैं।

रघुवर दास के कैबिनेट में रहे पांच मंत्रियों के संपत्ति की जांच करेगी ACB, हेमंत कैबिनेट ने दी मंजूरी

रांची

झारखण्ड सरकार के पूर्व मंत्रियी अमर कुमार बाउरी, रणधीर कुमार सिंह, डॉ० नीरा यादव, लुईस मरांडी एवं नीलकंठ सिंह मुण्डा के विरूद्ध प्रत्यानुपातिक धनार्जन की जॉच के लिए पी०ई० दर्ज करने की अनुमति हेमंत सोरेन की कैबिनेट ने दिये हैं। मंगलवार को हुए कैबिनेट की बैठक में इससे संबंधित प्रस्ताव को मंजूरी दी गयी। अब ACB यानि एंटी करप्शन ब्यूरो इस मामले में प्राथमिकी दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू करेगी। वर्ष 2020 में एक RTI कार्यकर्ता ने झारखंड हाईकोर्ट में जनहित याचिका दर्ज की थी। इस याचिका के संदर्भ में सीएम ने जांच के आदेश दिये थे। याचिका में कहा गया था कि इन पूर्व मंत्रियों ने आय से अधिक संपत्ति अर्जित की है। उनके मंत्री काल में उनकी संपत्ति में 200 से 1000 प्रतिशत तक की बढोत्तरी हुई है। 

बीजेपी जांच से नहीं डरती - बाबूलाल 

हेमंत सोरेन कैबिनेट के फैसले के बाद बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष एंव पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को कटघरे में खड़ा किया। श्री मरांडी ने कहा कि इस प्रकार की जांच तो विभागीय मंत्री के आदेश से ही किया जा सकता है, फिर इतने तामझाम से कैबिनेट में प्रस्ताव लाना राजनीतिक ड्रामेबाजी से अधिक कुछ नहीं है। उन्होंने कहा कि भाजपा जांच से नही भागती, लेकिन अच्छा होता मुख्यमंत्री जी यदि इतना ही भ्रष्टाचार के खिलाफ संवेदनशील हैं तो उसकी शुरुआत अपने घर से ही करें। बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सोरेन परिवार ने दिल्ली उच्च न्यायालय में लोकपाल की सुनवाई में हलफनामा देकर 108संपत्ति की घोषणा की है।और न जाने कितने अघोषित सम्पत्ति जो अभी इडी के छापों के दरम्यान पकड़े जाने की खबरें अख़बारों में आ रही हैं।